नैनीताल । उत्तराखंड हाईकोर्ट की खंडपीठ ने हल्द्वानी के चर्चित बनभूलपुरा दंगें के मुख्य साजिशकर्ता अब्दुल मलिक की जमानत प्रार्थना पत्र पर सुनवाई की। मामले की सुनवाई के बाद कार्यवाहक मुख्य न्यायधीश मनोज कुमार तिवारी व न्यायमूर्ति विवेक भारती शर्मा की खंडपीठ ने उन्हें कोई राहत नहीं देते हुए अगली सुनवाई के लिए 16 दिसम्बर (सोमवार) की तिथि नियत की है।
बता दें कि पूर्व के आदेश पर गुरुवार को राज्य सरकार ने उनकी जमानत प्रार्थना पत्रों में आपत्तियां पेश की। आपत्ति में कहा गया कि ये दंगे के मुख्य आरोपी व साजिशकर्ता हैं जिसकी वजह से यह दंगा हुआ और कई लोगों को जान तक गवाई। इनके ऊपर एनआईए भी लगा है। उसका जवाब भी कोर्ट में पेश कर दिया गया है, जिस पर खण्डपीठ ने अगली सुनवाई हेतु 16 दिसम्बर (सोमवार) की तिथि नियत की।
मामले के अनुसार 8 फ रवरी 2024 को हल्द्वानी के बनभूलपूरा इलाके में अतिक्रमण हटाने गई प्रशाशन व पुलिस की टीम पर साजिशकत्र्ता सहित अतिक्रमणकारियों व कई अन्य लोगो ने पथराव व आगजनी और गोलीबारी की। दंगे के दौरान दंगाईयों ने कई वाहनों सहित थाने को घेरकर गोलाबारी की जिसमें कई लोगों की मौके पर मौत हो गयी और 100 से अधिक लोग घायल हुए। पुलिस की जाँच के बाद पुलिस ने 100 से अधिक दंगाईयों को गिरफ्तार किया जिसमें से एक आरोपी ये भी थे। गुरुवार को उनके द्वारा जमानत प्रार्थना पत्र में यह भी कहा है कि जिस दिन यह घटना हुई वे वहाँ न होकर दिल्ली में थे। उन्हें वेबजह फंसाकर उनके ऊपर दंगा भडक़ाने और दंगाईयों का साथ देने का झूठा मुकदमा दर्ज कर दिया, जब अपराध किया ही नहीं तो झूठा मुकदमा किस आधार पर दर्ज किया गया? इसलिए उन्हें जमानत दी जाए। अतिक्रमण करने के मामले में उन्हें एकल पीठ से जमानत मिल चुकी है। गुरुवार को उनकी जमानत प्रार्थन पत्र की पैरवी सुप्रीम कोर्ट के वरिष्ठ अधिवक्ता सलमान खुर्शीद ने की।
